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भारत का भूगोल

भारत, दक्षिण एशिया में स्थित एक विशाल और विविधतापूर्ण देश है, जिसका भूगोल अत्यंत समृद्ध, जटिल और विविधता से भरा हुआ है। यह देश समुद्र, पर्वत, मरुस्थल, मैदान, और वन क्षेत्रों से युक्त है, जो इसे भूगोल की दृष्टि से एक अद्भुत देश बनाते हैं। 1. भारत की भौगोलिक स्थिति भारत उत्तरी गोलार्द्ध में स्थित है। यह भूमध्य रेखा के उत्तर में 8°4′ उत्तरी अक्षांश से 37°6′ उत्तरी अक्षांश तक और 68°7′ पूर्वी देशांतर से 97°25′ पूर्वी देशांतर तक फैला हुआ है। उत्तर से दक्षिण की लंबाई: लगभग 3,214 किलोमीटर पूर्व से पश्चिम की चौड़ाई: लगभग 2,933 किलोमीटर कुल क्षेत्रफल: लगभग 32,87,263 वर्ग किलोमीटर (विश्व में सातवां सबसे बड़ा देश) 2. भारत की सीमाएँ भारत की सीमाएँ 7 देशों से मिलती हैं: उत्तर में: चीन, नेपाल, और भूटान पश्चिम में: पाकिस्तान पूर्व में: बांग्लादेश और म्यांमार दक्षिण-पूर्व में: श्रीलंका (समुद्री सीमा के माध्यम से) तीनों ओर से भारत को समुद्र घेरे हुए हैं: पश्चिम में: अरब सागर पूर्व में: बंगाल की खाड़ी दक्षिण में: हिंद महासागर 3. भारत के प्रमुख भौगोलिक क्षेत्र भारत के भूगोल को...

पीएम विश्वकर्मा योजना क्या है? इसके क्या लाभ है

पीएम विश्वकर्मा योजना क्या है? प्रधानमंत्री विश्वकर्मा योजना (PM Vishwakarma Yojana) भारत सरकार द्वारा शुरू की गई एक महत्वाकांक्षी योजना है, जिसे 17 सितंबर 2023 को विश्वकर्मा जयंती के अवसर पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने लॉन्च किया था। इस योजना का मुख्य उद्देश्य पारंपरिक कारीगरों और शिल्पकारों को आर्थिक और तकनीकी सहायता प्रदान करके उनकी आजीविका को बेहतर बनाना और उनके कौशल को बढ़ावा देना है। यह योजना सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यम मंत्रालय (MoMSME) द्वारा संचालित की जाती है और 2023-2028 तक लागू रहेगी, जिसके लिए 13,000 करोड़ रुपये का बजट आवंटित किया गया है। इस योजना के तहत 18 पारंपरिक व्यवसायों को शामिल किया गया है, जैसे कि बढ़ईगिरी, लोहारगिरी, सुनार, कुम्हार, राजमिस्त्री, मूर्तिकार, नाई, धोबी, दर्जी, टोकरी/चटाई/झाड़ू निर्माता, और अन्य। इसका लक्ष्य कारीगरों और शिल्पकारों को उनके उत्पादों और सेवाओं की गुणवत्ता, पैमाने और पहुंच में सुधार करने के लिए प्रोत्साहित करना है। पीएम विश्वकर्मा योजना के लाभ पीएम विश्वकर्मा योजना कई प्रकार के लाभ प्रदान करती है, जो कारीगरों और शिल्पकारों को आर्थिक रूप ...