भारत, दक्षिण एशिया में स्थित एक विशाल और विविधतापूर्ण देश है, जिसका भूगोल अत्यंत समृद्ध, जटिल और विविधता से भरा हुआ है। यह देश समुद्र, पर्वत, मरुस्थल, मैदान, और वन क्षेत्रों से युक्त है, जो इसे भूगोल की दृष्टि से एक अद्भुत देश बनाते हैं। 1. भारत की भौगोलिक स्थिति भारत उत्तरी गोलार्द्ध में स्थित है। यह भूमध्य रेखा के उत्तर में 8°4′ उत्तरी अक्षांश से 37°6′ उत्तरी अक्षांश तक और 68°7′ पूर्वी देशांतर से 97°25′ पूर्वी देशांतर तक फैला हुआ है। उत्तर से दक्षिण की लंबाई: लगभग 3,214 किलोमीटर पूर्व से पश्चिम की चौड़ाई: लगभग 2,933 किलोमीटर कुल क्षेत्रफल: लगभग 32,87,263 वर्ग किलोमीटर (विश्व में सातवां सबसे बड़ा देश) 2. भारत की सीमाएँ भारत की सीमाएँ 7 देशों से मिलती हैं: उत्तर में: चीन, नेपाल, और भूटान पश्चिम में: पाकिस्तान पूर्व में: बांग्लादेश और म्यांमार दक्षिण-पूर्व में: श्रीलंका (समुद्री सीमा के माध्यम से) तीनों ओर से भारत को समुद्र घेरे हुए हैं: पश्चिम में: अरब सागर पूर्व में: बंगाल की खाड़ी दक्षिण में: हिंद महासागर 3. भारत के प्रमुख भौगोलिक क्षेत्र भारत के भूगोल को...
गाँव में रहकर भी कई ऐसे छोटे उद्योग हैं जिन्हें कम लागत में शुरू करके अच्छा मुनाफ़ा कमाया जा सकता है। ज़रूरी नहीं कि हर व्यापार के लिए शहर जाना पड़े। आज हम आपको कुछ ऐसे लघु उद्योगों के बारे में बताएंगे जो गांव की ज़मीन, संसाधन और परिवेश के अनुसार बहुत सफल हो सकते हैं। 1. दूध डेयरी और पशुपालन व्यवसाय लागत : ₹10,000 – ₹50,000 (2-3 गाय/भैंस से शुरू) फायदा : दूध, दही, घी आदि को स्थानीय बाज़ार में बेचा जा सकता है। जरूरत : पशुओं की देखभाल, चारा और एक छोटा स्थान। 2. अगरबत्ती और मोमबत्ती निर्माण लागत : ₹5,000 – ₹25,000 फायदा : धार्मिक स्थानों और त्योहारों पर मांग ज़्यादा रहती है। जरूरत : मशीन, कच्चा माल और स्थानीय बिक्री। 3. हर्बल साबुन या घरेलू उत्पाद बनाना लागत : ₹10,000 – ₹30,000 फायदा : ऑर्गेनिक उत्पादों की माँग तेजी से बढ़ रही है। जरूरत : कुछ ट्रेनिंग और सही सामग्री। 4. कुटीर उद्योग – अचार, पापड़, मसाले लागत : ₹3,000 – ₹15,000 फायदा : घर की महिलाएं भी इस उद्योग में योगदान दे सकती हैं। जरूरत : स्वच्छता, गुणवत्ता और पैकेजिंग। 5. मुर्गी पालन (पोल्ट्री फार्मिंग) ...